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शुक्रवार, 25 दिसंबर 2009
"कष्ट-क्लेश का होगा नाश।" (डॉ.रूपचन्द्र शास्त्री "मयंक")
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बहुत उम्दा सोच एवं रचना!!
जवाब देंहटाएंआमीन!
जवाब देंहटाएंसत्य कहा शाश्त्री जी. शुभकामनाएं.
जवाब देंहटाएंरामराम.
बहुत सुन्दर! नव वर्ष की शुभ-कामनाएं!
जवाब देंहटाएंशास्त्री जी बहुत सुंदर रचना
जवाब देंहटाएंबहुत सुन्दर रचना. नए वर्ष की अग्रिम शुभकामनाएँ
जवाब देंहटाएंक़ाबिले-तारीफ़ है। आपको नए साल की मुबारकबाद।
जवाब देंहटाएंwaah bahut hi sundarta se bahut hi gahri baat kah di.
जवाब देंहटाएंनमस्ते,
जवाब देंहटाएंआपकी इस प्रविष्टि् के लिंक की चर्चा मंगलवार (18-05-2021 ) को 'कुदरत का कानून अटल है' (चर्चा अंक 4069) पर भी होगी। आप भी सादर आमंत्रित है।
चर्चामंच पर आपकी रचना का लिंक विस्तारिक पाठक वर्ग तक पहुँचाने के उद्देश्य से सम्मिलित किया गया है ताकि साहित्य रसिक पाठकों को अनेक विकल्प मिल सकें तथा साहित्य-सृजन के विभिन्न आयामों से वे सूचित हो सकें।
यदि हमारे द्वारा किए गए इस प्रयास से आपको कोई आपत्ति है तो कृपया संबंधित प्रस्तुति के अंक में अपनी टिप्पणी के ज़रिये या हमारे ब्लॉग पर प्रदर्शित संपर्क फ़ॉर्म के माध्यम से हमें सूचित कीजिएगा ताकि आपकी रचना का लिंक प्रस्तुति से विलोपित किया जा सके।
हार्दिक शुभकामनाओं के साथ।
#रवीन्द्र_सिंह_यादव
बहुत सुंदर और दार्शनिक रचना, आदरणीय 🙏
जवाब देंहटाएंआज भी सामयिक
जवाब देंहटाएंफिर से उपवन महके ! आशा का संचार करता सुन्दर गीत !
जवाब देंहटाएं