चाट-चाट कर सहलाती है। करती जाती प्यारी बातें। खुश होकर करती है अम्मा, मुझसे कितनी सारी बातें।। बहुत चाव से दूध पिलाती, बिन मेरे वो रह नहीं पाती, सीधी सच्ची मेरी माता, सबसे अच्छी मेरी माता, ममता से वो मुझे बुलाती, करती सबसे न्यारी बातें। खुश होकर करती है अम्मा, मुझसे कितनी सारी बातें।। दुनियादारी के सारे गुर, मेरी माता मुझे बताती, हरी घास और भूसा-तिनका, खाना-खाना भी बतलाती, जीवन यापन करने वाली, सिखलाती गुणकारी बातें। खुश होकर करती है अम्मा, मुझसे कितनी सारी बातें।। |
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मंगलवार, 17 मई 2011
"मेरी माता-बालगीत" (डॉ.रूपचन्द्र शास्त्री "मयंक")
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सुन्दर कविता, वैसे तो चित्र देखकर मन प्रसन्न हो गया था।
जवाब देंहटाएंचित्रमय बहुत सुन्दर बाल गीत्।
जवाब देंहटाएंचित्रमय गीत और वह भी बाल मनोभावों को उकेरता हुआ . बहुत सुंदर लिखा.
जवाब देंहटाएंगौमाता और उसके वत्स के साथ कविता करना और चित्रों में साक्षात प्रदर्शित करने से सोने में सुहागा हो गया है।
जवाब देंहटाएंमाताएँ तो सारी एक सी होती हैं ... प्यारी दुलार करती हुई .... सुंदर चित्रों से सजी मोहक रचना ...
जवाब देंहटाएंबहुत सुन्दर चित्र मन प्रसन्न हो गया था।
जवाब देंहटाएंआभार इस प्रस्तुति के लिए
चाट-चाट कर सहलाती है।करती जाती प्यारी बातें।खुश होकर करती है अम्मा,मुझसे कितनी सारी बातें।
जवाब देंहटाएं....कोमल भावों से सजी
How sweet ...and very different..
जवाब देंहटाएंसहज मोह लेने वाली कविता मेरे पुत्र को यह बेहद भायेगी
जवाब देंहटाएंबहुत बढ़िया...बहुत खूब
जवाब देंहटाएंआपकी ये सादगी भा गई भाई जी
इतने सीधे शब्दों में आपने बहुत कुछ बता दिया
बचपन के साथ साथ ...जीवन का सच भी सामने है
समझने वाले समझ गए ....जो ना समझे वो........
bachchon ka to maja aajayega itni suder schitra kavita padhkar.insaan ho ya janwer maa ki bhaavnayen ek jaisy hoti hain.bahut uttam likha.
जवाब देंहटाएंबालमन में सम्वेदनाएँ जगाती, अतिभावपूर्ण बाल कविता।
जवाब देंहटाएंचित्र ममता जगाते है।
आपके पवित्र भावों को प्रणाम
bahut pyara geet babu ji...bachpan ki yaad dila gaya...aabhar
जवाब देंहटाएंबहुत सुंदर कविता और प्यारे चित्र
जवाब देंहटाएंसबसे अच्छी मेरी माता...
जवाब देंहटाएंसुन्दर बालगीत ..
जवाब देंहटाएंबहुत सुन्दर मोह लेने वाले भाव भरी कविता
जवाब देंहटाएंbahut hee sundar baal geet!
जवाब देंहटाएंमेरी अम्मा ही हैं जिनसे है औरों का नाता,
जवाब देंहटाएंसारा जग इसलिए बुलाता अम्मा को गौमाता !
सुंदर ,सजीव प्रस्तुति !
वाह, बहुत ही सुन्दर कविता...
जवाब देंहटाएंबहुत सुन्दर,बहुत प्यारी पोस्ट है आपकी.
जवाब देंहटाएंमाँ की ममता का आनंद आपने इस पोस्ट में लुटा दिया है शास्त्रीजी.
बहुत बहुत आभार.